Subhanshu Shukla Latest News – भविष्य की योजनाएं और प्रेरणा
Shubhanshu Shukla Latest News:जानिए कैसे Shubhanshu Shukla बने भारत के दूसरे अंतरिक्ष यात्री जिन्होंने Axiom‑4 मिशन से ISS तक उड़ान भरी, भावुक संदेश दिया पत्नी को, और 41 साल बाद रचा नया इतिहास।
Axiom-4 मिशन के साथ Group Captain Shubhanshu Shukla एक बड़ी उपलब्धि लेकर आए हैं—41 साल बाद अंतर्राष्ट्रीय स्पेस स्टेशन पर जाने वाले दूसरे भारतीय। लेकिन बात सिर्फ मिशन की नहीं है, बल्कि एक इंसान की ज़िंदगी की भी है जिसने संघर्ष, सपने और परिवार के साथ एक प्रेरक सफर तय किया है।
ISS की ओर भारत की दूसरी उड़ान
25 जून 2025 को Florida से SpaceX Falcon‑9 और Crew Dragon में चढ़कर Shubhanshu Shukla ने अंतरिक्ष की यात्रा शुरू की ।
यह पल उस समय और भी खास हो गया जब उन्होंने कहा,
“Tiranga tells me…”
— जिस वक्त लॉन्च हुआ, तो उन्होंने अपने कंधे पर झंडा लहराया, दिखा कर यह सफर सिर्फ अपना नहीं, बल्कि देश का भी था ।

पत्नी: स्कूल की सहेली से मुस्कान बनी ज़िंदगी का सहारा
सबसे दिल छू लेने वाली बात है उनका परिवार—खासकर उनकी पत्नी कामना।—
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उन्होंने सिर्फ Axiom-4 टीम को नहीं, बल्कि अपने परिवार और पत्नी का भी धन्यवाद किया ।
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सोशल मीडिया पर उनके भावुक शब्द आज भी गूंज रहे हैं ।
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यह युगल 3rd क्लास से साथ-पढ़े—पहले दोस्त, फिर प्यार में बदले—और अब कामना Shukla की सबसे बड़ी ताकत बनी हैं ।
“Without you by my side, none of this would’ve been possible” — यह नोट पढ़कर पूरा देश भी भावुक हो उठा ।
मिस्ड लॉन्च, पर बेहद जिम्मेदारियाँ निभाईं
मिशन को कई बार देरी का सामना करना पड़ा:
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Liquid oxygen leak, ISS pressure issues और मौसम की वजह से launch टला गया ।
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ISRO और NASA ने पूरी तरह से safety को ध्यान में रखकर launch प्रक्रिया को स्थगित किया—कि “Better safe than sorry” ।
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अंततः 25 जून को उन्होंने ऐतिहासिक मोड़ पर उड़ान भरी — अच्छी तरह सम्मानित और तैयार ।
Rakesh Sharma के 41 साल बाद दूसरी बार भारत ने अंतरिक्ष में कदम रखा
Subhanshu वे पहले भारतीय नहीं हैं जो space गए, लेकिन वे उस मंडिनी पर खड़े हैं जिसे सिर्फ Rakesh Sharma ने 1984 में छु गया था ।
अब Axiom-4 मिशन के साथ वे ISS तक पहुंचकर दुनिया को दिखा रहे हैं कि भारत का वैज्ञानिक आकाश भी बेहद विशाल है।
Axiom-4 मिशन में उनकी भूमिका
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वे ISS के लिए मिशन पायलट हैं ।
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Crew में NASA की Veteran Peggy Whitson, पोलैंड और हंगरी के भी क्रू मेंबर हैं ।
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इस मिशन में करीब 60 वैज्ञानिक प्रयोग किए जाएंगे, जिनमें भारतीय प्रयोग भी शामिल हैं—Material Science, Human Biology आदि ।
कुटुंब की भूमिका – मूल्यत्ता से प्रेरणा मिली
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उनकी माँ Asha Shukla और पिता ने हमेशा उनका मनोबल बढ़ाया ।
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TOI, ET की रिपोर्ट में बताया गया कि वह लखनऊ के City Montessori School के छात्र रहे, NDA उन्हें प्रेरित स्कूल बना ।
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उनकी पत्नी कामना हमेशा उनका हौसला बढ़ाती रही, और उनका बेटा उनके सपने में भी शामिल रहा ।
सोशल मीडिया पर ये क्या कह रहे लोग?
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उनकी पोस्ट पर यूज़र्स ने लिखा—“We are super proud of you!” ।
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Launch के समय, “Tiranga tells me…” पर प्रतिक्रिया आई—“Pure desh bhakti!” ।
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ट्विटर पर Odisha Governor और CM ने उनकी तारीफ़ की:
“His journey embodies the spirit of New India” ।
क्यों यह सफर महत्वपूर्ण है?
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यह सिर्फ एक टेक्नोलॉजिकल मिशन नहीं बल्कि मानव भावना की सफलता है।
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यह बताया गया कि एक सैनिक, परिवार के सपोर्ट, मेहनत और देशभक्ति से कैसे बनता है ब्रह्मांडीय सफर।
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इस मिशन में ISS पर पहले भारतीय प्रयोग हो रहे हैं, जो हमारे वैज्ञानिक क्षमता को गहरा दिखाते हैं।
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भारत के अंतरिक्ष यात्रियों की सूची में Rakesh Sharma और अब Subhanshu Shukla का ऐतिहासिक नाम जुड़ गया है।
अब आगे क्या होगा?
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ISS में रहने का समय लगभग 2 हफ्ते का होगा, जिसमें वैज्ञानिक मिशन होंगे ।
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भारत में उनके वापस आने पर राष्ट्रीय चंद्रोदय जैसा जश्न मनाया जाएगा।
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भविष्य में Gaganyaan मिशन के लिए यह मोटिवेशन और तकनीकी आधार देगा।
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